तू कहाँ? तू है कहाँ?
जाने कहाँ वो रास्ता
तू मिले जहाँ कहीं
वहीं हो अपना राब्ता
आ भी तो जा, बाँहों में भर, ना यूँ सता
तू आ भी जा, साँसों को दे कोई वजह
बैरिया, बैरिया, तू कहाँ, बैरिया?
बैरिया, बैरिया, इतना बता, बैरिया
मेरी ना रज़ा थी, मिली जो सज़ा थी
कोई वजह थी दरमियाँ
फ़ासलों का यूँ आना, सब यूँ बिखर जाना
क़िस्मत में था ये लिखा
कैसे बताऊँ मैं, कैसे दिखाऊँ मैं
हाल मेरा क्या हुआ
रब भी ख़फ़ा था, ग़म हर जगह था
उम्मीदें सारी थीं धुआँ
हाँ, आ भी तो जा, तारे बने हैं ये गवाह
तू आ भी जा, तूने चुनी थी ये सज़ा
बैरिया, बैरिया, तू कहाँ, बैरिया?
बैरिया, बैरिया, इतना बता, बैरिया