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Kaun Hain Voh

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Lirik
जटा कटा हसंभ्रम भ्रमन्निलिम्प निर्झरी

विलो लवी चिवल्लरी विराजमान मूर्धनि

धगद् धगद् धगज्ज्वलल् ललाट पट्ट पावके

किशोर चन्द्र शेखरे रतिः प्रतिक्षणं मम

कौन है वो कौन है वो

कहां से वो आया

चारों दिशाओं में

तेज सा वो छायाउसकी भुजाएं बदले कथाएं

भागीरथी तेरी तरफ

शिवजी चले देख ज़रा

यह विचित्र माया

धरा धरेन्द्र नंदिनी विलास बन्धु बन्धुरस्

फुरद् दिगन्त सन्तति प्रमोद मानमानसे

कृपा कटाक्ष धोरणी निरुद्ध दुर्धरापदि

क्वचिद् दिगम्बरे मनो विनोदमेतु वस्तुनि

लता भुजङ्ग पिङ्गलस् फुरत्फणा मणिप्रभा

कदम्ब कुङ्कुमद्रवप् रलिप्तदिग्व धूमुखे

मदान्ध सिन्धुरस् फुरत् त्वगुत्तरीयमे

दुरे मनो विनोद मद्भुतं बिभर्तु भूतभर्तरि

कौन है वो कौन है वो

कहां से वो आया

चारों दिशाओं में

तेज सा वो छाया

उसकी भुजाएं बदले कथाएं

भागीरथी तेरी तरफ

शिवजी चले देख ज़रा

यह विचित्र माया

Kaun Hain Voh oleh Kailash Kher/Mounima - Lirik dan Liputan