थारो सूरज जैसे मुखड़ो
थारो रूप चांद को टुकड़ो
थारो सूरज जैसे मुखड़ो
थारो रूप चांद को टुकड़ो
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
थारे बिन लागे नहीं हिवड़ो
म्हारो मन चावे थारो जीवड़ो
थारे बिन लागे नहीं हिवड़ो
म्हारो मन चावे थारो जीवड़ो
ओ म्हारा साजणा"" सूरत
थारी म्हारे कालजे बसी
ओ म्हारा साहिबा"" सूरत
थारी म्हारे कालजे बसी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
थारो संग साथ गोरड़ी
प्यारो घणो लागे
म्हारे पास आजा अब तो"
रहणो है सागे
थारो रूप म्हने ललचावे
म्हासूं ,रियो नहीं जावे
थारो रूप म्हने ललचावे
म्हासूं रियो नहीं जावे
ओ मीठी मिसरी विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
थोड़ो तो धीरज धारो
म्हारो रूप रंग सब थारो
थोड़ो तो धीरज धारो
म्हारो रूप रंग सब थारो
ओ म्हारा साजणा"" सूरत
थारी म्हारे कालजे बसी
ओ म्हारा सायबा"" सूरत
थारी म्हारे नैणा में बसी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
होंठ जद'सूं मै देखिया
दिखणा रसीला
हिवडे बसे है थारा
रूप ये सजीला
जोबणियो कमल सूं कंवलो
धकधक धड़के म्हारो हिवडो
जोबणियो कंवल सूं कंवलो
धकधक धड़के म्हारो हिवडो
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
निंदड़ली उड़ उड़ जावे
जद तू सूपणा में आवे
थे अब मत देर लगाओ
डोली लेकर आ जाओ
ओ म्हारा सायबा"" सूरत
थारी म्हारे नैणा में बसी
ओ म्हारा बालमा"" सूरत
थारी म्हारे हिवड़े में बसी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
ओ म्हारा साजणा"" सूरत
थारी म्हारे कालजे बसी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी
ओ म्हारा सायबा"" सूरत
थारी म्हारे कालजे बसी
तू म्हारी गोरड़ी"" विधाता
तन्ने म्हारे वास्ते गढ़ी