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Shams

Sanjeeta Bhattacharyahuatong
rosewheatley1959huatong
歌词
作品
मेरा दिल है तेरी क़दमों पर

उसी के आगे सर मैं अपना झुकाता रहा

बंदगी तो मेरी फ़ितरत है

हर क़दम पे मैं उसी ख़ुदा का रहा

रहूँ पनाह में मेरे यार की

करता रहूँ रहनुमा की दुआ

शागिर्दी की तलाश में

मैं क्यूँ भटका सा रहा?

एकमिजाजी हैं हम मेरी आबरू की तरह

मन में एक ही सरगम है तेरी सरगमों की तरह

छुपाता हूँ दिल की इन ख़ज़ानों को

बिख़रे हुए इन सन्नाटों से कहूँ अगर मैं कुछ तो

खोता हूँ लफ़्ज़ों को अपनी ही बातों से

ढूँढता रहूँ उस आईने को

जो तनहाइयों में दे साथ मेरा

सच यही होगा अगर होगा तो

कहो इसे ना कोई ख़्वाब मेरा

एकमिजाजी हैं हम मेरी आबरू की तरह

मन में एक ही सरगम है तेरी सरगमों की तरह

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