ये कहानी
भीगी-भीगी रातों में तू याद आती है (याद आती है)
धीरे-धीरे यादों में तू मुस्कुराती है (तरसाती है)
मैं चाहूँ या ना चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
मैं चाहूँ या ना चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
आज भी तुझे चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
मैं चाहूँ या ना चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
(चाहूँ या ना...)
(चाहूँ या ना...)
ओ-ओ-ओ, हो गए जुदा रास्ते जहाँ चले
लौट चले हम-तुम वहाँ
खो गए सुबह मिलना लिखा
रातों में पर तेरे बिना
मैं जाऊँ, कहाँ जाऊँ?
मैं जाऊँ कहाँ?
तुझे ही मैं पाऊँ
मैं जाऊँ जहाँ
मैं चाहूँ या ना चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
मैं चाहूँ या ना चाहूँ
मैं चाहूँ या ना...
(तुझपे फ़िदा हो या ना)
(मैं चाहूँ या ना...)
(मैं चाहूँ या ना चाहूँ)
(मैं चाहूँ या ना...)
(मैं चाहूँ या ना चाहूँ)
(मैं चाहूँ या ना...)
(मैं चाहूँ या ना चाहूँ)
(मैं चाहूँ या ना...)